जिला अस्पताल परिसर में मंगलवार रात को बड़ा हादसा हुआ जब लंबे समय से खड़ी दो खराब एम्बुलेंस अचानक आग की चपेट में आ गईं। आग इतनी तेज थी कि कुछ ही मिनटों में दोनों वाहन जलकर खाक हो गए। दमकल विभाग ने तत्काल कार्रवाई करते हुए 20 मिनट में आग पर काबू पा लिया।
क्या है घटना?
कोतवाली एसआई नारायण सिंह बघेल ने बताया कि दोनों एम्बुलेंस कई महीनों से अस्पताल परिसर में खड़ी थीं। इन वाहनों में बैटरी नहीं थी, जिससे स्वाभाविक रूप से आग लगने की संभावना बेहद कम है। पुलिस का मानना है कि किसी शरारती तत्व ने जानबूझकर इन वाहनों को आग के हवाले किया होगा।
आग लगने की आशंका
अस्पताल के कर्मचारियों ने भी इस बात की पुष्टि की कि इन वाहनों में ज्वलनशील सामग्री जैसी कोई चीज मौजूद नहीं थी। अधिकारियों ने बताया कि घटना के वक्त परिसर में कोई संदिग्ध गतिविधि देखी गई थी, जिसकी जांच जारी है।
दमकल विभाग की तत्परता
दमकल विभाग के कर्मचारी तुरंत मौके पर पहुंचे और आग पर काबू पा लिया। विभाग के अनुसार, आग से अन्य वाहनों या अस्पताल की इमारत को कोई नुकसान नहीं हुआ। अगर आग समय पर नहीं बुझाई जाती, तो यह और बड़ा हादसा हो सकता था।
पुरानी एम्बुलेंस खड़ी हैं नीलामी के इंतजार में
अस्पताल प्रशासन के अनुसार, परिसर में चार खराब एम्बुलेंस पिछले एक साल से खड़ी हैं। इन्हें नीलामी प्रक्रिया के तहत जल्द हटाया जाना था। इस घटना ने प्रशासन की सुस्ती और सुरक्षा उपायों की कमी को उजागर किया है।
पुलिस जांच जारी
पुलिस इस घटना को गंभीरता से लेते हुए हर एंगल से जांच कर रही है। सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं और घटनास्थल से साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं। पुलिस ने शरारती तत्वों के शामिल होने की आशंका जताई है और जल्द ही दोषियों को पकड़ने का आश्वासन दिया है।
अस्पताल प्रशासन की प्रतिक्रिया
अस्पताल प्रशासन ने इस घटना पर चिंता व्यक्त की है और सुरक्षा में लापरवाही के लिए जिम्मेदार कर्मचारियों से जवाब मांगा है। साथ ही, परिसर में खड़े अन्य वाहनों को जल्द हटाने और सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत करने का निर्णय लिया गया है।
यह घटना अस्पताल परिसर की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े करती है। प्रशासन और पुलिस की त्वरित कार्रवाई से मामला नियंत्रण में है, लेकिन दोषियों पर सख्त कार्रवाई की मांग की जा रही है।

