✍️जुन्नरदेव से मुकेश बरखाने संवाददाता
छिन्दवाड़ा/01 मार्च 2025/ मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी (एम.पी.ट्रांसको) एवं रेड क्रॉस सोसायटी व स्थानीय जिला चिकित्सालयों, मेडिकल कॉलेज के सहयोग से मध्यप्रदेश में एम.पी. ट्रांसको के जिला मुख्यालयों में स्थित ट्रांसमिशन लाइन मेंटेनेंस उपसंभागों, सबस्टेशनों आदि में ‘‘सी.पी.आर. एवं अन्य ऐसे ही जीवन रक्षक तकनीकों‘‘ पर प्रशिक्षण कार्यशाला आयोजित किये जा रहें है। इसी क्रम में एक प्रशिक्षण कार्यशाला एम.पी. ट्रांसको एवं छिंदवाडा इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल सांइस के संयुक्त तत्वावधान में छिंदवाडा में आयोजित की गई।
चंदनगांव छिंदवाडा स्थित एम.पी. ट्रांस्को के कार्यालय में आयोजित इस प्रशिक्षण कार्यशाला के संयोजक छिंदवाडा के कार्यपालन अभियंत दीपक पारधी द्वारा कार्यक्रम के उद्देश्य एवं विषय की उपयोगिता पर प्रकाश डालते हुए इस प्रशिक्षण पर प्रबंध संचालक इंजीनियर सुनील तिवारी कि मंशानुसार ‘‘ट्रांस्को के प्रशिक्षित व्यक्तियों में से अपने जीवन काल में यदि कोई कर्मी किसी एक भी व्यक्ति की जान बचाने में सफल होता है, तो कंपनी के लिये प्रशिक्षण का यह उद्देश्य पूर्णतः सफल होगा‘‘ से अवगत कराया। इस उपयोगी कार्यशाला में कंपनी के परीक्षण संभाग छिंदवाडा एवं अति उच्चदाब संधारण उपसंभाग छिंदवाडा के सभी अधिकारी एवं कर्मचारियों को छिंदवाडा इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल सांइस के डॉ.अश्विनी पटेल एवं डॉ.उमेश शिवहरे द्वारा व्यवहारिक और उपयोगी प्रशिक्षण दिया गया।
सहायक अभियंता अंजु धुर्वे के सतत् प्रयासों से आयोजित कंपनी के कार्मिकों एवं समाज के लिए बहुउपयोगी एवं जीवनरक्षक इस कार्यशाला के सफल आयोजन में एम.पी. ट्रांसको के करीब 30 मेंटनेन्स, ऑपरेटिंग एवं सुरक्षा कर्मियों ने हिस्सा लिया। सी.पी.आर. प्रशिक्षण के लिये उपयोग किये जाने वाले मानव पुतले एवं कुछ वीडियों की सहायता से सी.पी.आर. तकनीक का विस्तृत प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण के दौरान यह सुनिश्चित किया गया कि प्रत्येक प्रतिभागी ने विषय विशेषज्ञ की निगरानी में मानव पुतले पर सी.पी.आर. तकनीक का अभ्यास किया एवं प्राथमिक उपचार संबंधित प्रशिक्षण प्राप्त किया। अभ्यास के दौरान विषय विशेषज्ञ द्वारा प्रतिभागियों की शारिरिक मुद्रा एवं तकनीक उपयोग की बारीकी से जांच कर उन्हें सुधारा गया।
डॉक्टरों द्वारा अन्य जीवन रक्षक तकनीकों यथा पानी में डूबे हुए व्यक्ति का बचाव, किसी भी प्रकार के शॉक लगने वाले व्यक्ति का बचाव, सिक्का या किसी अन्य वस्तु का गलती से श्वास नली में फंस जाने एवं चोट लगने पर उसका प्राथमिक उपचार इत्यादि पर विस्तृत जानकारी भी दी गई। प्रतिभागियों के प्रश्नों का समाधान भी इस शिविर में किया गया।

