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जुन्नारदेव से गांव को जोड़ने के लिए प्रधानमंत्री सड़क कं योजना के अंतर्गत सड़क मार्ग का निर्माण कार्य किया जा रहा है इसी क्रम में ग्राम पंचायत पालाचौरई के अंतर्गत आने वाली हनुमान दफाई एजेंट बंगले के पास से ग्राम केवलारी तक लगभग 3 किलोमीटर का डामरीकृत सड़क मार्ग का निर्माण कार्य किया जाना है। इसी दौरान लगभग से पुलिया का निर्माण कार्य भी किया जाना है। लोक निर्माण विभाग के द्वारा विगत 3 वर्ष पूर्व टेंडर प्रक्रिया पूरी कर इस कार्य को ठेकेदार के माध्यम से शुरू कराया गया था लेकिन ठेकेदार के द्वारा सीमेंट कंक्रीट एवं सीमेंट के पोल डालकर पुलिया का निर्माण कार्य किया गया लेकिन सड़क निर्माण कार्य में डब्ल्यूबीएम का कार्य करने के बाद सड़क के निर्माण कार्य को अधूरा छोड़ दिया गया जिसकी वजह से बारिश शुरू होने पर इस मार्ग में कीचड़ व फिसलन की स्थिति बन जाती थी जिससे आवागमन करते ग्रामीणों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ता था एवं कीचड़ व फिसलन भरे रास्ते से होकर उन्हें अपने घर तक पहुंचना पड़ता था जिसकी वजह से कई मर्तबा वाहन से फिसल कर ग्रामीण जन घायल भी हो जाते थे। एवं कुछ माह के बाद पुनः बारिश शुरू होने वाली है इस स्थिति को देखते हुए *भारतीय जनता पार्टी के जिला उपाध्यक्ष एवं जिला पंचायत सदस्य कमलेश उईके के द्वारा पीडब्ल्यूडी विभाग के ई तारिक मंडल से चर्चा की गई साथ ही साथ जिला पंचायत की बैठक में भी इस मुद्दे को कई मर्तबा उठाया गया जिसका परिणाम यह निकला कि 3 वर्ष के बाद ठेकेदार के द्वारा इस मार्ग में गिट्टी डालकर सड़क मार्ग का निर्माण कार्य प्रारंभ किया गया* जिसकी वजह से अब कहीं ना कहीं आगामी दिनों में आवागमन करते राहगीरो को उबड़ खाबड़ मार्ग से होने वाली परेशानियों से निजात मिलेगी।
इस सड़क मार्ग के बन जाने से क्या-क्या आसानी होगी।पालाचौरई से लेकर केवलारी तक अगर यह डामरीकृत सड़क मार्ग बन जाता है तो स्कूल आवागमन करते छात्र छात्राओं को स्कूल पहुंचने में आसानी होगी वही लाटखेड़ा, केवलारी, रिछेड़ा, मोरकुंड सहित अन्य ग्राम के निवासियों को बाजार करने व खरीदारी के लिए कम सफर तय करना पड़ेगा इसके अलावा मोरकुंड, केवलारी की ओर जाने के लिए पहले 10 से 12 किलोमीटर का सफर तय कर घूम के जाना पड़ता था इस सड़क मार्ग के बन जाने से केवलारी, मोरकुंड पहुंचने के लिए लगभग 3 किलोमीटर का सफर तय करना पड़ेगा। जिससे कि आवागमन में समय की बचत होगी। इस सड़क मार्ग के बन जाने से आसपास के कई गांव एक दूसरे से जुड़ जाएंगे।




