जुन्नरदेव से मुकेश बरखाने संवाददाता छिन्दवाडा/18 जनवरी 2025/ छिंदवाड़ा के गांवों में उम्मीद की किरण जगाते हुए एक नई सुबह ने दस्तक दी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की स्वामित्व योजना ने यहां के लोगों के जीवन में ना सिर्फ खुशियों की लहर दौड़ाई है, बल्कि उन्हें उनकी जमीन पर अधिकार का वास्तविक एहसास भी कराया है।
"ख्वाब जो देखे थे बरसों से, अब वो हकीकत बन रहे हैं।
जमीं अपनी कहने के हक, आज हमें मिल रहे हैं।"
गांव के कई परिवार ऐसे थे, जो अपनी जमीन पर रहते हुए भी उसके वैध मालिक नहीं थे। उनके पास न तो दस्तावेज थे और न ही कोई पहचान। यह दर्द पीढ़ियों से उनकी नियति बन गया था। लेकिन अब स्वामित्व योजना के तहत उन्हें भूमिस्वामी का अधिकार अभिलेख दिया गया है, जो उनके अधिकारों की पुष्टि करता है।
ग्राम गांगीवाड़ा के दिनेश परतेती, ग्राम चारगांव के सेवकराम चौरिया, ग्राम भानादेही के लालसिंह अहके और ग्राम मानेगांव के संदीप सूर्यवंशी, पंकज करपे और राजेश कुमार करपे जैसे जिले के 46266 ग्रामीणों को पट्टे प्राप्त हुये। कलेक्ट्रेट परिसर में आयोजित एक गरिमामय कार्यक्रम में, सांसद विवेक बंटी साहू, अन्य जनप्रतिनिधि और कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने इन पट्टों को सौंपा। साथ ही ग्राम पंचायत स्तर पर आयोजित कार्यक्रमों में स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने भी ग्रामीणों को भू-अधिकार अभिलेख प्रदाय किये।
"मेहनत से जोड़ा हर सपना, अब साकार होता दिख रहा है।
जमीं के कागज का हर टुकड़ा, नई उम्मीद लिख रहा है।"
पट्टा मिलने के बाद लोगों की खुशी देखने लायक थी। उनका कहना था कि अब वे बिना किसी डर के अपनी जमीन पर रह सकते हैं। बैंक से ऋण लेना भी अब आसान हो गया है, जिससे वे अपनी जरूरतें पूरी कर पाएंगे और अपने जीवन स्तर को सुधार सकेंगे।
इस मौके पर ग्रामवासी बेहद भावुक थे। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह योजना उनके लिए किसी वरदान से कम नहीं है।
"जहां हर गली में खुशियों की बयार चल रही है,
वो माटी अब हमारी पहचान बन रही है।"
स्वामित्व योजना न केवल इन गांववासियों के जीवन में स्थिरता और खुशी लेकर आई है, बल्कि यह देश की प्रगति की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम भी है। यह पहल हर गांववासी के लिए आत्मसम्मान और आत्मनिर्भरता का प्रतीक बन चुकी है।

