नवेगांव।
स्थानीय युवा गौरक्षक कृष्णा ठाकुर ने गौसेवा को समर्पित होकर एक अनोखा संकल्प लिया है। उन्होंने घोषणा की है कि जब तक क्षेत्र में 1000 गौशालाओं का निर्माण और गौमाताओं के लिए चिकित्सा व्यवस्था सुनिश्चित नहीं हो जाती, तब तक वे जूते-चप्पल नहीं पहनेंगे।
कृष्णा ठाकुर लंबे समय से गौ-सेवा और संरक्षण के कार्यों में सक्रिय हैं। उन्होंने अब तक अनेक घायल गौमाताओं का नि:शुल्क उपचार कराया है। साथ ही सड़कों पर घूमने वाले मवेशियों की सुरक्षा के लिए उन्होंने उनके सींगों पर रेडियम लगाने का अभियान भी चलाया, ताकि रात के समय होने वाली दुर्घटनाओं से पशुओं की जान बच सके।
गौरसेवा का प्रण लेकर कृष्णा ठाकुर साइकिल से भारत भ्रमण भी कर चुके हैं। उनके इस समर्पण और त्याग से वे स्थानीय युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गए हैं। ग्रामीणों और समाजसेवियों ने उनके इस noble प्रयास की भूरि-भूरि प्रशंसा की है।
> कृष्णा ठाकुर का कहना है — "जब तक गौमाताओं के लिए पर्याप्त गौशालाएं नहीं बन जातीं और उनका जीवन सुरक्षित नहीं होता, तब तक मैं नंगे पांव रहकर इस अभियान को जारी रखूंगा।"