ना मिली मोहब्बत तो कर दी हत्या! बरघाट में एकतरफा प्यार बना मौत का सौदा
बरघाट (सिवनी)।
प्रेम जब जुनून में बदल जाए, तो इंसानियत भी हार जाती है। बरघाट क्षेत्र से एक ऐसा ही सनसनीखेज मामला सामने आया है, जिसमें एकतरफा प्यार में अंधे युवक ने अपने दोस्त के साथ मिलकर एक विवाहित महिला के पति की बेरहमी से हत्या कर दी। बरघाट पुलिस ने इस हत्याकांड का खुलासा महज 24 घंटे में करते हुए दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है।
एकतरफा प्यार से उपजा खूनी जुनून
ग्राम निवारी निवासी अतुल उर्फ पंकज मड़ावी (22) लंबे समय से अपनी पड़ोसी रुक्मणी मर्सकोले से एकतरफा प्रेम करता था। रुक्मणी ने उसे कई बार समझाया कि वह विवाहित है और अपने पति के सिवा किसी के बारे में नहीं सोच सकती। रुक्मणी की यह बात अतुल को नागवार गुज़री। उसने प्रेम में असफलता को अपनी बेइज्जती समझ लिया और दोस्त अंकित गढ़पाल (26) के साथ मिलकर खौफनाक साजिश रच डाली।
शराब के बहाने बुलाया, फिर गला रेत डाला
दीपावली के बाद 23 अक्टूबर की रात मृतक अनिल मर्सकोले (32) घर लौटा था। उसी शाम शराब पीने के बहाने अतुल और अंकित ने अनिल को कन्हरगांव माइनर रोड की सुनसान जगह बुलाया। वहां तीनों ने शराब पी। इसी दौरान दोनों आरोपियों ने अनिल पर अचानक चाकू से हमला कर उसका गला रेत दिया। हत्या के बाद दोनों ने हथियार खेत में फेंक दिए और ऐसे लौट आए जैसे कुछ हुआ ही न हो।
सड़क किनारे मिला शव, खुला राज़
अगली सुबह ग्रामीणों ने सड़क किनारे खून से लथपथ शव देखा और पुलिस को सूचना दी। थाना प्रभारी मोहनीश बैस मौके पर पहुँचे और प्रारंभिक जांच में मृतक की पहचान अनिल मर्सकोले के रूप में हुई। पूछताछ के दौरान जब पुलिस ने मृतक की पत्नी रुक्मणी से जानकारी ली, तो शक की सुई अतुल की ओर घूम गई। हिरासत में लेकर पूछताछ करने पर अतुल ने अपना अपराध स्वीकार किया और पूरी साजिश का खुलासा कर दिया।
दोनों आरोपी गिरफ्तार, जेल भेजे गए
पुलिस ने मुख्य आरोपी अतुल उर्फ पंकज मड़ावी (22) पुत्र श्रीलाल मड़ावी और उसके साथी अंकित गढ़पाल (26) पुत्र महेश गढ़पाल, निवासी ग्राम निवारी, को गिरफ्तार कर भारतीय न्याय संहिता की धारा 103(1), 61(2), 238, 3(5) के तहत मामला दर्ज किया और न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया।
तेज़ कार्रवाई के लिए पुलिस टीम को सराहना
एसडीओपी ललित गठरे के मार्गदर्शन में थाना प्रभारी निरीक्षक मोहनीश बैस, थाना प्रभारी अरी आशीष खोबरागड़े, उप निरीक्षक फून्दूलाल उइके, स.उ.नि. लुपेश रहांगडाले, शैलेष तिवारी, प्र.आर. मेघेन्द्र रहांगडाले, मतीन खान, राजकुमार बघेल, राजेन्द्र कटरे, मनोज पारधी, केशरी नंदन ऐड़े, पारस तुरकर, होमंत राहांगडाले, शरद गौतम, जयंत, हेमंत गायकवाड, और गजेन्द्र तेकाम की विशेष भूमिका रही।
बरघाट पुलिस की तत्परता बनी मिसाल
पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार मेहता और अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक दीपक मिश्रा के निर्देशन में कार्य कर रही टीम ने मात्र 24 घंटे में हत्या की गुत्थी सुलझा दी।
जुनूनी प्यार का भयावह अंत
इस वारदात ने तीन ज़िंदगियाँ बर्बाद कर दीं — एक मरा, एक जेल गया और एक का संसार उजड़ गया। बरघाट की यह घटना चेतावनी है कि जब प्यार हद से गुजर जाता है, तो उसका अंत अक्सर खून से लिखा जाता है।
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